भारत सरकार ने प्रवासी मजदूरों के लिए बड़ा एलान किया है. दो महीने के लिए प्रवासी मजदूरों को फ्री अनाज दिया जाएगा. जिन मजदूरों का राशन कार्ड नहीं बना हुआ है, उन्हें भी प्रति व्यक्ति 5 किलो राशन और 1 किलो चना हर महीने 2 महीने तक जरूर मिलेगा. सरकार को उम्मीद है कि इससे 8 करोड़ प्रवासी मजदूरों को लाभ होगा.
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने गुरुवार को इसका एलान किया. इस दौरान वित्त राज्यमंत्री अनुराग ठाकुर मौजूद रहे. 20 लाख करोड़ रुपये के राहत पैकेज के दूसरे चरण के तहत ये एलान किए गए. गुरुवार को तमाम घोषणाएं प्रवासी श्रमिकों, सड़क के किनारे स्टॉल या रेहड़ी लगाने वालों, छोटे व्यापारियों, स्वरोजगार वालों और छोटे किसानों पर केंद्रित रहींं.
सरकार ने कहा है कि प्रवासी मजदूरों को अनाज की आपूर्ति का पूरा खर्च वह वहन करेगी. इस पर सरकार दो महीने के लिए 3500 करोड़ रुपये खर्च करेगी. राज्य सरकारों पर इसके कियान्वयन का जिम्मा होगा. वही प्रवासी मजदूरों की पहचान करेंगे.
सीतारमण ने कहा, ”8 करोड़ प्रवासी मजदूरों के राशन के लिए 3500 करोड़ का प्रावधान सरकार करने जा रही है. प्रति व्यक्ति 2 महीने मुफ्त 5-5 किलो चावल और गेहूं और 1 किलो चना प्रत्येक परिवार को दिया जाएगा.”
राशन उपलब्ध कराने के लिए टेक्नोलॉजी सिस्टम का इस्तेमाल किया जाएगा. वित्त मंत्री ने कहा कि दूसरे राज्यों में रह रहे प्रवासी परिवार सार्वजनिक वितरण प्रणाली से मिलने वाले राशन को नहीं ले पाते हैं. इसके लिए वन नेशन वन राशन कार्ड का एलान किया गया है.