ओवैसी ने अपने बयान में उगला जहर कहा हिंदूवादी विचारधारा की जीत लोकतंत्र की हार

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प्रशान्त पाण्डेय

भगवान रामलला की नगरी अयोध्या में राम मंदिर के भूमि पूजन के साथ ही पूरे देश में राम नाम की गूंज सुनाई दे रही है। उधर, राम मंदिर के भूमि पूजन को लेकर ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन के असदुद्दीन ओवैसी ने झुंझलाहट जाहिर की है। असदुद्दीन ओवैसी ने कहा कि भारत एक सेक्युलर देश है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राम मंदिर का भूमि पूजन कर अपने पद की गरिमा का उल्लंघन किया है।
असदुद्दीन ओवैसी ने कहा, ‘यह दिन हिंदुत्व की जीत और लोकतंत्र के साथ-साथ सेक्युलरिज्म की हार का भी है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को कहा कि वह आज भावुक थे।’ यही नहीं, ओवैसी ने कहा, ‘मैं भी उतना ही भावुक था क्योंकि मैं नागरिकों की सहभागिता और समानता में यकीन रखता हूं। मिस्टर प्राइम मिनिस्टर, मैं इस वजह से भावुक हूं क्योंकि वहां 450 वर्षों तक मस्जिद खड़ी थी।’

राम मंदिर के भूमि पूजन से पहले ट्वीट
राम मंदिर के भूमि पूजन से पहले असदुद्दीन ओवैसी ने दो तस्वीरों के साथ ट्विटर पर लिखा था, ‘बाबरी मस्जिद थी, है और रहेगी। इंशाअल्लाह। हैशटैग बाबरी जिंदा है।’ असदुद्दीन का यह हैशटैग BabriZindaHai ट्विटर पर काफी ट्रेंड हुआ है।

उधर ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड के जनरल सेक्रेटरी मौलाना वली रहमानी ने बयान जारी कर कहा, ‘बाबरी मस्जिद कल भी थी, आज भी है और कल भी रहेगी। मस्जिद में मूर्तियां रख देने से या फिर पूजा-पाठ शुरू कर देने या एक लंबे अर्से तक नमाज पर प्रतिबंध लगा देने से मस्जिद की हैसियत खत्म नहीं हो जाती।’ उन्होंने कहा, ‘हमारा हमेशा यह मानना रहा है कि बाबरी मस्जिद किसी भी मंदिर या किसी हिंदू इबादतगाह को तोड़कर नहीं बनाई गई। हालात चाहे जितने खराब हों हमें हौसला नहीं हारना चाहिए। खालिफ हालात में जीने का मिजाज बनाना चाहिए।’

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