बिल्डर्स पर गिरफ्तारी वारंट तामील न करने पर हुई कार्यवाही
बिलासपुर : बिलासपुर में महिला को 2 BHK मकान बनाकर देने का झांसा देने वाले अर्शदीप बिल्डकॉन के संचालक को पुलिस गिरफ्तार नहीं कर रही है और वारंट तामिल नहीं करा पा रही है। इस पर राज्य उपभोक्ता फोरम ने बिलासपुर और दुर्ग SP को नोटिस जारी किया है। वहीं, गिरफ्तारी वारंट तामिल कराने के लिए DGP को निर्देशित किया गया है। एडवोकेट श्रीवास्तव ने बताया कि अर्शदीप बिल्डकॉन के डॉयरेक्टर सरदूल सिंह व सतपाल सिंह और उनके मैनेजर ने महिला को बिलासपुर में 24 वर्गफीट जमीन में 2BHK मकान बनाकर देने के लिए एग्रीमेंट किया था, जिसके एवज में 26 लाख 50 हजार रुपए भी वसूल लिए। मामला 2012-13 का है। पैसे देने के बाद भी बिल्डर ने महिला को न तो मकान बनाकर दिया और न ही पैसे वापस किए।
ब्याज सहित 26 लाख 50 हजार, क्षतिपूर्ति और वाद व्यय देने का दिया था आदेश
एग्रीमेंट के साथ पैसे देने के बाद भी महिला परेशान होती रहीं। फिर भी बिल्डर ने उन्हें न तो मकान बनाकर दिया और न ही पैसे लौटाए। दर-दर भटकने के बाद महिला ने उपभोक्ता फोरम में परिवाद प्रस्तुत की, जिसकी सुनवाई हुई, तब भी बिल्डर उपस्थित नहीं हुआ। ऐसे में फोरम ने एक पक्षिय आदेश देते हुए अर्शदीप बिल्डकॉन के संचालकों को 26 लाख 50 हजार रुपए ब्याज सहित लौटाने, क्षतिपूर्ति राशि के साथ ही वाद व्यय देने का आदेश दिया।
आदेश पर अमल नहीं हुआ, तब बिलासपुर और दुर्ग SP को नोटिस
फोरम के आदेश का पालन नहीं करने पर महिला ने दोबारा मामला प्रस्तुत की, जिसके बाद फोरम ने अर्शदीप बिल्डकान के संचालक सरदूल सिंह व सतपाल सिंह को उपस्थित होने के लिए नोटिस जारी किया था। बार-बार नोटिस के बाद भी अनुपस्थित रहने पर उनकी गिरफ्तारी के लिए नोटिस जारी किया गया। फोरम ने 17 नवंबर 2020, 25 मार्च 2021, 24 फरवरी 2023 को नोटिस जारी किया। लेकिन, पुलिस वारंट की तामिल नहीं करा पाई और न ही बिल्डरों की गिरफ्तारी की। लिहाजा, फोरम ने बिलासपुर व दुर्ग SP को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है। साथ ही DGP को बिल्डरों को गिरफ्तार कराने के निर्देश दिए गए हैं।
पुलिस पर संरक्षण का आरोप
परिवादी महिला का आरोप है कि अर्शदीप बिल्डकॉन के संचालक बिलासपुर में अपना कारोबार कर रहे हैं और दुर्ग में उनका निवास है। पुलिस से उनकी तगड़ी सेटिंग है। उन्होंने बिल्डर के धोखाधड़ी करने की शिकायत भी पुलिस से की थी। लेकिन, जमीन और लेनदेन संबंधी विवाद बताकर पुलिस ने कार्रवाई नहीं की। जब जब फोरम ने उनकी गिरफ्तारी के लिए वारंट जारी किया है। इसके बाद भी उन्हें गिरफ्तार नहीं किया जा रहा है। उन्होंने पुलिस पर बिल्डरों को संरक्षण देने का आरोप लगाया है।
जमीन विवाद में आए दिन धोखाधड़ी का केस दर्ज कर लेती है पुलिस
पीड़ित महिला का यह भी आरोप है कि पुलिस जमीन संबंधी विवाद पर अपना फायदा देखकर कार्रवाई करती है। शहर में ऐसे कई केस हैं, जिसमें पुलिस जमीन विवाद पर धोखाधड़ी का केस दर्ज कर लेती है। बिल्डर ने उनसे एग्रीमेंट कर पैसे लेकर धोखाधड़ी की है। इसके बाद भी पुलिस ने इस केस में कोई कार्रवाई नहीं की और उन्हें कोर्ट जाने के लिए मजबूर कर दी।