प्रतापपुर/सूरजपुर:- छत्तीसगढ़ शासन की बहुत ही महत्वकांक्षी योजना नरवा गरबा और बाड़ी प्रतापपुर में विफल नजर आ रही है जहां सरकार द्वारा गाय मवेशियों को सुरक्षा व्यवस्था देने को लेकर नरवा गरवा गुरवा बाड़ी योजना चलाई जा रही है, जिससे सभी ग्राम पंचायतों में एक निश्चित स्थान पर मवेशियों के लिए चारा पानी ठहराव का व्यवस्था गौठान के रूप में किया गया है, जिसमें शासन के द्वारा करोड़ों रुपए खर्च किए गए हैं परंतु यह योजना भी आज पूरी तरह फेल होते नजर आ रही है। गौठान तो लगभग सभी जगह बना दिया गया है लेकिन ना इसमें चारा पानी ना ही कोई सुविधा मुहैया कराया गया, वहीं शाम होते ही रोड में मवेशियों का जमावड़ा लगा रहता है पशु इधर-उधर भटकने को मजबूर हैं पशुओं की उचित व्यवस्था ना होने की वजह से आए दिन रोड में दुर्घटना होते रहता है कितने पशु दुर्घटना में अपनी जान गवा चुके हैं वहीं भारतीय जनता पार्टी के द्वारा भी इस मामले को लेकर कई बार आंदोलन किया जा चुका है, कई वरिष्ठ पत्रकारों के द्वारा भी इस मामले से शासन को अवगत कराया गया परंतु शासन के द्वारा या उच्च अधिकारियों के द्वारा गंभीरता से नहीं लिया गया। जहां सत्ता पक्ष के नेता व पूर्व पार्षद नगर पंचायत प्रतापपुर वार्ड क्रमांक 3 मासूम इराकी ने भी जनपद सीईओ प्रतापपुर पर इस लापरवाही का गंभीर आरोप लगाते हुए इसकी लिखित शिकायत सूरजपुर जिला कलेक्टर से की है अब देखने वाली बात होगी कि कलेक्टर द्वारा क्या कदम उठाया जाता है।
चारा चोर बने जनपद सीईओ
जब शासन द्वारा पशुओं के लिए नरवा गरवा बाड़ी योजना के तहत करोड़ों रुपए खर्च किए जा रहे हैं उसके बाद भी प्रतापपुर क्षेत्र में यह योजना केवल कागजों पर ही सीमित रह गई है जिससे साफ जाहिर होता है कि यह पैसा चोरा चोरी करने वाले ग्राम पंचायत सचिव सरपंच एवं महानुभाव जनपद सीईओ के जेब में जा रहा है, जिससे गाय एवं मवेशियों का चारा कोई और खा जा रहा है। यह एक बेहद शर्मनाक घटना है इस प्रकार की घटना और माननीय कृत्य की श्रेणी में आती है। क्योंकि जब सरकार द्वारा बेजुबान जानवरों के लिए काफी सारी सुविधाएं प्रदान की जा रही है उसके बाद उन बेजुबान जानवरों का निवाला चारा चोरी करके कोई और अपनी जेब भरने में लगा है। सत्ता पक्ष के नेता मासूम इराकी इस मामले में जनपद सीईओ को घेरते हुई सीधे तौर पर इसकी शिकायत कलेक्टर से की है तथा चोरा चोरी करने वाले जनपद सीईओ पर कार्रवाई करने की मांग की है।
विदित हो कि कुछ दिनों पहले मुख्य मार्ग प्रतापपुर पर एक अज्ञात पिकअप वाहन द्वारा तीन गायों को ठोकर मार दी गई थी से उनकी घटनास्थल पर ही मौत हो गई थी इससे पूर्व भी 7 गौ वंश कि इसी प्रकार सड़क दुर्घटना में मौत हो गई थी इससे साफ जाहिर होता है कि जनपद प्रतापपुर में अव्यवस्था का आलम जोरों पर है शासन की महत्वकांक्षी योजना का केवल मजाक बनाया जा रहा है, यह कहना गलत नहीं होगा कि जिस प्रकार से ग्राम पंचायतों में गौठान की व्यवस्था होनी चाहिए उसके अनुरूप कार्य नहीं हुआ है और गौठान में प्रयुक्त होने वाले राशि का प्रयोग सीओ साहब अपने व्यक्तिगत कार्य में कर रहे हैं।