महामाया पहाड़ से जल्द हटेगा अतिक्रमण, डीएफओ ने कलेक्टर को पत्र लिख मांगा पुलिस बल….

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हिंद स्वराष्ट्र अम्बिकापुर : आस्था के केन्द्र महामाया पहाड़ पर व्यापक पैमाने पर हुए अतिक्रमण को हटाने की तैयारी प्रशासन ने कर ली है। जल्द ही प्रशासन, पुलिस व नगर निगम की संयुक्त टीम महामाया पहाड़ पर कब्जाधारियों को बेदखल करने की कार्रवाई करेगी। विभिन्न राजनीतिक दलों व संगठनों द्वारा लंबे समय से महामाया पहाड़ से अतिक्रमण हटाने की मांग की जा रही थी। इसे लेकर शहर में जमकर सियासत भी देखने को मिली थी। शहर के महामाया पहाड़ पर अतिक्रमण स्थानीय व बाहरी लोगों द्वारा धड़ल्ले से किए जाने की शिकायत भाजपा पार्षद आलोक दुबे ने जून 2021 में छत्तीसगढ़ शासन से की थी। इस मामले में शासन द्वारा सरगुजा कलेक्टर संजीव कुमार झा को जांच के आदेश दिए गए थे। शासन के निर्देश के बाद कलेक्टर ने 10 दिसंबर 2021 को टीम गठित कर जांच करने के निर्देश दिए थे। जांच टीम में विनय कुमार लंगेह मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत सरगुजा, तनुजा सलाम अपर कलेक्टर, वन मण्डलाधिकारी, अनुविभागीय अधिकारी राजस्व अम्बिकापुर, नगर पुलिस अधीक्षक अंबिकापुर व आयुक्त नगर पालिक निगम अम्बिकापुर द्वारा महामाया पहाड़ एवं उसके आस-पास स्थित क्षेत्र का सर्वे किया गया था।
सर्वे में 254 अतिक्रमण की पुष्टि हुई थी। विभिन्न राजनीतिक दलों व संगठनों द्वारा लंबे समय से महामाया पहाड़ से अतिक्रमण हटाने की मांग की जा रही थी। इसे लेकर शहर में जमकर सियासत भी हुई थी। वहीं वन विभाग द्वारा अतिक्रमण हटाने को लेकर 60 अतिक्रमणकारियों को 3 बार नोटिस जारी किया गया था।

नोटिस में समय अवधि के अंदर स्वयं कब्जा हटाने का निर्देश दिया गया था, लेकिन अतिक्रमणकारियों द्वारा अत्यधिक समय बीत जाने के बाद भी अतिक्रमण नहीं हटाया गया। अतिक्रमणकारियों की उदासीनता को देखते हुए वन विभाग, प्रशासन, पुलिस व नगर निगम की संयुक्त टीम जल्द ही महामाया पहाड़ पर कब्जाधारियों को बेदखल करने की कार्रवाई करेगी।

डीएफओ ने कलेक्टर को लिखा पत्र
महामाया पहाड़ को अतिक्रमण मुक्त कराने को लेकर डीएफओ सरगुजा द्वारा कलेक्टर को पत्र लिखा गया है। इसमें उल्लेख किया गया है कि 60 अतिक्रमणकारियों को पूर्व में तीन बार नोटिस दिए जाने के बावजूद भी उन्होंने खुद से कब्जा नहीं हटाया है। इसके मद्देनजर डीएफओ ने कलेक्टर से महामाया पहाड़ को अतिक्रमण मुक्त कराने के लिए पुलिस बल, राजस्व, नगर निगम की संयुक्त टीम की मांग की है। बताया जा रहा है कि अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई जल्द की जा सकती है।

जांच में अतिक्रमण प्रमाणित
प्रशासन को बिना राजनीतिक दबाव में आए महामाया पहाड़ के पर्यावरण एवं हरियाली को बचाने के लिए बेदखली की कार्रवाई करनी चाहिए। क्योंकि सारे जांच से यह प्रमाणित हो गया है कि संरक्षित वन क्षेत्र में अतिक्रमणकारी बिना वैध दस्तावेज के मकान बनाकर रह रहे हैं।
आलोक दुबे, पार्षद

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